ऑपरेशन सिंदूर में भारत की शक्ति का नेतृत्व: दो महिला अफसरों ने संभाली कमान

पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित नौ आतंकी ठिकानों पर भारतीय सेनाओं द्वारा किए गए सटीक हवाई हमलों ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद जब दुनिया की निगाहें भारत की प्रतिक्रिया पर टिकी थीं, तब देश की ओर से मीडिया को संबोधित करने की जिम्मेदारी दो जांबाज़ महिला अधिकारियों को सौंपी गई—लेफ्टिनेंट कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह।

इन दोनों अधिकारियों ने न केवल रणनीतिक स्पष्टता के साथ ऑपरेशन की जानकारी दी, बल्कि पूरे आत्मविश्वास और शांति के साथ दुनिया को यह संदेश भी दिया कि भारत शांति चाहता है, लेकिन आतंकवाद को कतई बर्दाश्त नहीं करेगा।

महिला नेतृत्व की विशेषता

इस मीडिया ब्रीफिंग में दो महिला अधिकारियों का चयन एक सधे हुए रणनीतिक और भावनात्मक फैसले के रूप में देखा जा रहा है। यह कदम न केवल देश की सैन्य क्षमता का प्रतीक बना, बल्कि इसका एक गहरा सामाजिक संदेश भी था—यह ऑपरेशन उन महिलाओं को समर्पित था जिन्होंने अपने पति को पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद में खोया है। ऐसे में दो महिला अधिकारियों की उपस्थिति, इन पीड़ित परिवारों की आवाज बनकर सामने आई।

विंग कमांडर व्योमिका सिंह: ‘आसमान’ में नाम और काम

भारतीय वायुसेना की हेलिकॉप्टर पायलट विंग कमांडर व्योमिका सिंह अपने परिवार की पहली सदस्य हैं जिन्होंने सेना में कदम रखा। बचपन में जब उन्होंने जाना कि उनके नाम का अर्थ ‘आसमान में रहने वाली’ है, तभी से उन्होंने उड़ान भरने का सपना देखा। UPSC और SSB की कठिन राह पार करते हुए उन्होंने यह सपना साकार किया। आज वे समुद्र तल से लेकर 18,000 फीट की ऊंचाई तक उड़ान भर चुकी हैं और कठिन परिस्थितियों में तुरंत निर्णय लेने की क्षमता रखती हैं।

लेफ्टिनेंट कर्नल सोफिया कुरैशी: सीमा पर भी, शांति मिशन में भी अग्रणी

भारतीय सेना की सिग्नल कोर से जुड़ी लेफ्टिनेंट कर्नल सोफिया कुरैशी का सैन्य करियर 1999 में OTA, चेन्नई से शुरू हुआ। विज्ञान में स्नातकोत्तर करने के बाद सेना में सेवा देना उनके लिए सम्मान की बात रही है। उनके दादा भी सेना में थे, जिससे उन्हें प्रेरणा मिली। उन्होंने संयुक्त राष्ट्र के शांति मिशनों में भी छह वर्षों तक सेवा दी, जिसमें 2006 में कांगो जैसे संघर्ष क्षेत्रों में तैनाती शामिल रही। वहां उन्होंने संघर्ष विराम की निगरानी और मानवीय सहायता अभियानों में अहम भूमिका निभाई।

ऑपरेशन सिंदूर: सिर्फ सैन्य कार्रवाई नहीं, संदेश भी

ऑपरेशन सिंदूर के तहत की गई कार्रवाई में 100 से अधिक आतंकियों को मार गिराने की सूचना है। यह भारत का स्पष्ट संदेश था कि हम शांति के पक्षधर हैं, लेकिन आतंक के खिलाफ कठोर कदम उठाने से पीछे नहीं हटेंगे। और जब इस संदेश को दो सक्षम महिला अधिकारी देश की ओर से साझा करती हैं, तो यह सिर्फ एक सैन्य रिपोर्ट नहीं, बल्कि राष्ट्रीय गर्व और शक्ति का प्रतीक बन जाता है।


रिपोर्ट: संवाददाता, शिवांशु सिंह सत्या

 

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