पहला टेस्ट, बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी, पर्थ स्टेडियम

भारत ने तीसरे दिन के खेल में शानदार प्रदर्शन करते हुए ऑस्ट्रेलिया को 534 रनों का विशाल लक्ष्य दिया और दिन का खेल खत्म होने तक 12 रन पर ही मेज़बान टीम के तीन विकेट झटक लिए। भारतीय टीम की इस सफलता में यशस्वी जयसवाल और विराट कोहली की दमदार शतकीय पारियां निर्णायक रहीं।

जयसवाल का संयमित शतक, कोहली का दमदार प्रदर्शन

22 वर्षीय यशस्वी जयसवाल ने 297 गेंदों में 150 रनों की बेमिसाल पारी खेलकर अपने करियर का चौथा और विदेश में पहला शतक जमाया। उनके इस प्रदर्शन ने भारतीय बल्लेबाज़ी का भविष्य उज्जवल कर दिया है। दूसरी ओर, विराट कोहली (100 नाबाद, 143 गेंद) ने अपने अनुभव का लोहा मनवाते हुए  शतक पूरा किया। उनकी इस पारी ने उन्हें सर डॉन ब्रैडमैन के 29 शतकों से आगे पहुंचा दिया।

जयसवाल और केएल राहुल (77) की 201 रनों की ओपनिंग साझेदारी ने टीम को मज़बूत आधार दिया। जयसवाल ने जोश हेज़लवुड की गेंद पर खूबसूरत रैंप शॉट लगाकर शतक पूरा किया। इस शतक के साथ वे पर्थ में शतक लगाने वाले दूसरे सबसे युवा भारतीय बल्लेबाज़ बन गए।

ऑस्ट्रेलिया पर भारत का दबदबा

भारतीय कप्तान जसप्रीत बुमराह ने दूसरी पारी में 487/6 पर पारी घोषित की। इसके बाद गेंदबाज़ी में उन्होंने ऑस्ट्रेलिया को बड़ा झटका दिया। बुमराह ने डेब्यू कर रहे नाथन मैकस्वीनी (0) और मार्नस लाबुशेन (3) को पवेलियन भेजा।

बल्लेबाज़ी करने उतरे कप्तान पैट कमिंस भी दबाव में नज़र आए। भारत की तेज़ गेंदबाज़ी और पिच का अनियमित उछाल ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज़ों के लिए मुसीबत बन गया।

अगर भारत इस टेस्ट में जीत दर्ज करता है, तो यह मुकाबला जयसवाल और कोहली की यादगार पारियों के साथ-साथ भारतीय गेंदबाज़ों के शानदार प्रदर्शन के लिए याद रखा जाएगा।

रिपोर्ट: अनिरुद्ध नारायण

(मीडिया छात्र, पटना)

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