चेनाब पर विश्व का सबसे ऊंचा रेलवे पुल राष्ट्र को समर्पित, पीएम मोदी ने किया ऐतिहासिक उद्घाटन
अनजी ब्रिज का भी शुभारंभ, कश्मीर को देश की रेल व्यवस्था से मिला सीधा जुड़ाव
जम्मू-कश्मीर, 6 जून | संवाददाता
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में चेनाब नदी पर बने विश्व के सबसे ऊंचे रेलवे पुल का उद्घाटन कर देश को एक नई ऐतिहासिक उपलब्धि से जोड़ा। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने रेल इंजन में सवार होकर पुल का निरीक्षण किया और पुल पर तिरंगा लिए हुए चलकर एकता और प्रगति का संदेश दिया।
करीब 1,486 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित यह अद्भुत इंजीनियरिंग संरचना 359 मीटर ऊंची है, जो पेरिस की एफिल टावर से भी 35 मीटर ऊंची है। यह पुल उधमपुर-श्रीनगर-बारामुला रेल लिंक परियोजना (USBRL) का हिस्सा है, जिसकी कुल लागत ₹43,780 करोड़ है। पुल की लंबाई 1,315 मीटर है और यह कटरा से बनिहाल के बीच 111 किमी रेल मार्ग को जोड़ता है।
इस मौके पर प्रधानमंत्री के साथ रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला भी उपस्थित रहे।
‘गोल्डन जॉइंट’ से जुड़ा इतिहास
हालांकि इस पुल को 2002 में स्वीकृति मिली थी, लेकिन निर्माण कार्य 2017 में गति पकड़ सका। इसके लिए 26 किलोमीटर की पहुंच सड़कें और एक 400 मीटर लंबी सुरंग बनाई गई। पुल के आर्च का निर्माण अप्रैल 2021 में पूरा हुआ, और 13 अगस्त 2022 को ‘गोल्डन जॉइंट’ के जरिये इसका ऐतिहासिक समापन हुआ।
हिमालयी क्षेत्र में इंजीनियरिंग का चमत्कार
इस इस्पाती आर्च ब्रिज को हिमालय की कठिन भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए इस तरह डिज़ाइन किया गया है कि यह तेज हवाओं, तीव्र भूकंपों और विस्फोटों का सामना कर सके। इंजीनियरों ने इसे “हिमालयी क्षेत्र के लिए गेम-चेंजर” बताया है।
अनजी पुल: भारत का पहला केबल-स्टे रेल ब्रिज भी शुरू
चेनाब पुल के उद्घाटन के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने भारत के पहले केबल-स्टे रेलवे पुल अनजी ब्रिज का भी लोकार्पण किया। यह पुल अनजी नदी पर बना है, जो चेनाब की सहायक नदी है। यह पुल 725 मीटर लंबा है और इसमें 96 इस्पात केबल्स लगे हैं, जिनकी लंबाई 82 से 295 मीटर तक है।
2016 में क्षेत्र की भौगोलिक जटिलता को देखते हुए इसके डिज़ाइन को आर्च से बदलकर केबल-स्टे में परिवर्तित किया गया। इसका डेक 15 मीटर चौड़ा है और इसे भी उच्च हवाओं, भूकंपीय झटकों और विस्फोटों से सुरक्षित रखा गया है।
कश्मीर को मिली नई रेल पहचान
चेनाब और अनजी पुलों का उद्घाटन केवल संरचनात्मक उपलब्धि नहीं है, बल्कि यह कश्मीर को भारत की मुख्य रेल प्रणाली से स्थायी रूप से जोड़ने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है। यह दो पुल आधुनिक भारत की संकल्प शक्ति, इंजीनियरिंग कौशल और विकासशील सोच के प्रतीक बनकर सामने आए हैं।