विपक्ष ने किया वॉकआउट

नई दिल्ली, मंगलवार: लोकसभा में मंगलवार को विपक्षी सांसदों ने उत्तर प्रदेश के संभल में हुई हिंसा को लेकर जोरदार हंगामा किया। समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता अखिलेश यादव ने इस मुद्दे पर चर्चा की मांग की, लेकिन जब स्पीकर ओम बिरला ने इसे शून्यकाल में उठाने की अनुमति दी, तो विपक्ष ने नाराजगी जताते हुए सदन से वॉकआउट कर दिया।

सत्र की शुरुआत होते ही सपा नेता अखिलेश यादव ने संभल हिंसा का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा, “यह बहुत गंभीर मामला है। पांच लोगों की जान चली गई है। इस पर तुरंत चर्चा होनी चाहिए।”

हालांकि, स्पीकर ने कहा कि इस मुद्दे को शून्यकाल में उठाया जा सकता है। इस पर यादव और उनकी पार्टी के सांसद नाराज हो गए और विरोध में वॉकआउट कर दिया। इस दौरान सपा के कुछ सांसद नारेबाजी करते हुए सदन के वेल में पहुंच गए।

डीएमके सांसद ए. राजा ने सपा के इस कदम का समर्थन किया और अन्य विपक्षी दलों को भी समर्थन देने का आग्रह किया। इसके बाद कांग्रेस, एनसीपी और शिवसेना (यूबीटी) के सांसदों ने भी विरोध प्रदर्शन में भाग लिया। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने सदन के बीच जाकर सपा के विरोध प्रदर्शन में शामिल होकर एकजुटता जाहिर की।

विपक्षी हंगामे के दौरान संसदीय कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने अखिलेश यादव से बातचीत की कोशिश की, लेकिन बातचीत सफल नहीं हो सकी। इसके बाद यादव ने अपने सांसदों को वॉकआउट का संकेत दिया। राहुल गांधी सहित लगभग पूरा विपक्ष सदन से बाहर चला गया।

हालांकि, कुछ समय बाद विपक्षी सांसद सदन में लौट आए और प्रश्नकाल की कार्यवाही में शामिल हो गए।

विपक्ष की एकता पर सवाल
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि संभल हिंसा पर विपक्ष का यह संयुक्त प्रदर्शन आगामी सत्रों में सरकार पर दबाव बनाने की रणनीति का हिस्सा हो सकता है। वहीं, सत्ता पक्ष ने इसे केवल “राजनीतिक नाटक” करार दिया है।

रिपोर्ट : शिवांशु सिंह सत्या
(फ़ोटो जॉर्नलिस्ट)

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